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चंडीगढ़ दिनभर: लोकसभा चुनाव-2024 के नतीजे रोचक मोड़ ले सकते हैं। हर बार कांग्रेस व भाजपा ही लोकसभा चुनाव में वोटर्स से ज्यादातर संपर्क करती थी, लेकिन इस बार आजाद उम्मीदवार ने ठाना कि वोटर्स से अपील करेंगे कि इन दोनों बड़ी पार्टियों के प्रत्याशी को कई बार मौका देकर देख चुके हैं, लेकिन इस बार वोट आजाद उम्मीदवार को करें। वह चाहे कोई भी हो। मौका था सेक्टर-27 स्थित में हुई आजाद उम्मीदवार की सांझी प्रेसवार्ता का। इस मौके पर तीन निर्दलीय प्रत्याशियों ने जनता से अपील की कि इस बार मतदान बड़ी सोच समझ कर करें और इस बार मौका आजाद उम्मीदवार को दें। उन्होंने कहा कि एकला चलो रे के बजाय मिल के चलो रे।
बता दें कि सोमवार को चंडीगढ़ के आठ निर्दलीय प्रत्याशियों ने प्राइमरी मीटिंग कर एक बड़े फेसले के ऐलान के लिए मंगलवार को प्रेस वार्ता की प्लानिंग की थी, लेकिन जैसे ही शाम को पत्रकारों को निमंत्रण भेजा गया निर्दलीय प्रत्याशियों पर दबाव डालना शुरू हो गया। प्रेसवार्ता में प्रताप सिंह राणा, विनोद कुमार चायवाला, पुष्पिंदर लवली मौजूद रहे। आजाद प्रत्याशियों ने अलग-अलग रिवायती पार्टियों से लड़ने के बजाय एकजुट होकर लड़ने का फैसला किया। ताकि शहरवासियों के हितों का संरक्षण हो पाए।
बसपा प्रत्याशी डॉ. रीतू सिंह को जत्थेबंदियों ने समर्थन देने का किया ऐलान
बसपा उम्मीदवार डॉ. रीतू सिंह को मंगलवार को चुनाव प्रचार में उस समय भारी बल मिला, जब उन्हें विभिन्न जत्थेबंदियों ने समर्थन देने का एलान किया। जत्थेबंदियों में निहंग सिख जत्थेदार बाबा राजा राज सिंह अरबा खरबा तरना दल, बाबा देव नाथ, वाल्मीकि समाज प्रधान सरबजीत रॉकी वाल्मीकि और सरदार गुरनाम सिंह सिद्धू सहित रशपाल सिंह के नाम शामिल हैं। चुनाव 1 जून को है और 19 उम्मीदवार इस मैदान में उतरे हैं। इसमें बसपा से डॉक्टर रितु सिंह भी मैदान में है, जिन्हें विभिन्न जत्थेबंदियों ने समर्थन दिया है। इससे अभिभूत डॉक्टर रीतू सिंह ने प्रेस वार्ता के दौरान कहा कि चंडीगढ़ की जनता अब बदलाव चाहती है। पीछे 70 साल की अगर हम बात करें तो कभी कांग्रेस और कभी भाजपा दोनों ही पार्टियों को जनता देख चुकी है। दोनों ही पार्टी वायदे तो जरूर करती हैं, लेकिन मुद्दों पर काम नहीं किया जाता। चंडीगढ़ की ही बात करें तो दोनों ही चोर पार्टियां है। अभी जनता के प्रतिनिधि बनकर जनता के बीच जा रहे हैं, लेकिन एक बार जब यह चुनाव जीत जाते हैं तो उसके बाद जनता इनके पीछे-पीछे भागती है और इनको मिलना तक मुश्किल हो जाता है। जो मुद्दे हैं वह सालों साल वैसे के वैसे ही है उन पर कोई भी काम नहीं हुआ। लोगों के घर जाकर अगर उनसे वोट की अपील करो, तो लोग गुस्सा होते हैं कि सब पार्टियां और उम्मीदवार झूठे और फरेबी हैं।
मकान के लिए शहर का हर वर्ग परेशान : राणा
प्रताप सिंह राणा ने कहा कि इंसान की बुनियादी जरूरतें, रोटी, कपड़ा और मकान हैं। चंडीगढ़वासियों को रोटी व कपड़ा तो ईश्वर की कृपा से आसानी से मिल रहा है लेकिन मकान के लिए शहर का हर वर्ग परेशान है न तो कोई हल चार बार मेंबर पार्लियामेंट रहे कांग्रेस के प्रत्याशी ने किया और न पिछले दो टर्म में भाजपा ने किया। हम महलों वाले नहीं हैं। हम आप जैसे सामान्य लोग हैं। आम नागरिक का दर्द समझते हैं।
पुनर्वास कॉलोनी को मलिकाना हक : थामन
सुनील थामन ने कहा कि वायदा करते हैं कि यदि आप मुझे संसद में भेजते हैं तो सबसे पहले ओपन बिल द्वारा पुनर्वास कॉलोनी को मलिकाना हक दिलवाने का काम करूंगा। वहीं, हाउसिंग बोर्ड के रेजिडेंस को नीड बेस्ट चेंज और वन टाइम सेटलमेंट जैसी समस्याओं से समाधान होगा।
बड़े घरों को शेयर वाइस रजिस्ट्री की सुविधा : लाडी
सरदार बलजीत सिंह लाडी ने कहा कि कमर्शियल प्रॉपर्टी को फ्री होल्ड करवाने और सेक्टर-7 व 26 के क्लब और इंडस्ट्रियल एरिया में कन्वर्जन पॉलिसी जैसी समस्याओं का जड़ से खात्मा किया जाएगा। वहीं, लाल डोरे की समस्या को जड़ से खत्म करना और वहां पानी के कनेक् शन दिलाने पर काम होगा।
एक और एक ग्यारह होते हैं : विनोद कुमार
आजाद उम्मीदवार विनोद कुमार ने कहा कि एक और एक ग्यारह होते हैं। हम तो फिर भी दर्जन भर हैं। हमारे साथ दो हमारे जैसे ही साथी हैं। राजेश राठौर और प्रेम पाल चौहान जिनके कूटनीति द्वारा फार्म ही रद्द कर दिए गए हैं। इसलिए हमारी चंडीगढ़ के वोटरों से अपील है के 1 जून को बटन दबाने से पहले अपनी अंतरात्मा में झांक ले, सोच लें, समझ ले और फिर बटन दबाए।