डॉ. तरूण प्रसाद 2023 05 24T101939.100

सेक्टर-37 में प्लेनेट वीजा सॉल्यूशन इमीग्रेशन करता था विदेश भेजने के नाम पर फ्रॉड

चंडीगढ़ दिनभर

चंडीगढ़। विदेश भेजने के नाम पर ठगी करने वाले दो लोगों को सेक्टर-39 थाने की पुलिस ने गिर तार किया है। इन्होंने करीब 22 लाख रुपए की ठगी की। दोनों आरोपियों की पहचान पंजाब के बलाचौर निवासी विपिन कौशल उर्फ कर्ण शर्मा और संगरूर निवासी गुरवंत सिंह के रूप में हुई है। इनके पास से एक खिलौना पिस्तौल, एक कार और सिम कार्ड बरामद हुए हैं। इनके अन्य साथियों की तलाश जारी है। एसपी सिटी मृदुल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में इस संबंधी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि आरोपियों को जिला कोर्ट में पेश कर दो दिन का रिमांड ले लिया गया है। प्रेस कॉन्फ्रेंस में डीएसपी साउथ चरणजीत सिंह विर्क और सेक्टर-39 एसएचओ ईरम रिजवी भी मौजूद थीं।

एसपी ने बताया कि आरोपियों का सेक्टर-37 में प्लेनेट वीजा सॉल्यूशन इमीग्रेशन नाम से ऑफिस था। फतेहगढ़ साहिब के रहने वाले कुलदीप सिंह ने इनकी शिकायत की थी। बताया था कि उसने कनाडा जाने के लिए इमीग्रेशन कंपनी में कर्ण और प्रीती से संपर्क किया था। उन्होंने कहा था कि 12 लाख में वह कनाडा चला जाएगा। उसने 12 लाख रुपए आरोपियों के अकाउंट में डाल दिए। इन लोगों ने उसे वीजा देकर एयरपोर्ट भेज दिया। वहां पहुंचकर उसे पता चला कि उसका वीजा फेक है। इसी तरह से मोरिंडा के रहने वाले गुरदीप सिंह से इन्होंने 10 लाख रुपए लिए और उसे भी फेक वीजा देकर एयरपोर्ट भेज दिया। इन शिकायतों के मिलने के बाद ही पुलिस ने कार्रवाई कर इन्हें धर दबोचा।

अलग-अलग नाम से 16 पासपोर्ट बरामद
अलग-अलग नामों के 16 पासपोर्ट बरामद किए हैं। पुलिस जांच करेगी कि ये फर्जी पासपोर्ट हैं या इन जिनके ये पासपोर्ट हैं, उनसे भी आरोपी ठगी कर चुके हैं। इसके अलावा ऑफिस स्टांप , 4 मोबाइल फोन , एक कार, आरसी, पर्स, एक दिल्ली नंबर लाइसेंस, आईडीएफसी कार्ड, आईसीआईसीआई की पासबुक, बैंक ऑफ इंडिया के दो डेबिट कार्ड, एक्सिस बैंक ऑनलाइन रिवार्ड कार्ड , पेन कार्ड , दो आधार कार्ड, पीएनबी एटीम कार्ड एक।
फेक वीजा की फेक्ट्री कहां ,जांच जारी
एसपी सिटी ने कहा कि आरोपियों की एक मुख्य साथी प्रीती अभी फरार है। उसे जल्द अरेस्ट किया जाएगा। ये आरोपी फेक पासपोर्ट और वीजा कहां से बनवाते थे, उसकी जांच जारी है। इनके साथ अन्य जो भी आरोपी हैं उन्हें भी जल्द पकड़ लिया जाएगा। पुलिस ने बताया कि आरोपियों के सभी बैंक खाते सीज कर दिए गए हैं। इन खातों की भी जांच जारी है।