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  • उमरानंगल को बहाल करने के आदेश

चंडीगढ़।

पंजाब में फरीदकोट के बरगाड़ी बेअदबी मामले से संबंधित कोटकपूरा और बहिबल कलां गोलीकांड घटना में निलंबित चल रहे आईजी परमराज सिंह उमरानंगल को शुक्रवार को पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट से बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने उमरानंगल के निलंबन आदेश को रद्द कर दिया है और सरकार को उन्हें बहाल करने का निर्देश दिया है। ऐसे में अब आप दोबारा नौकरी ज्वाइन कर सकेंगे। हालांकि, इस संबंध में विस्तृत आदेश आना अभी बाकी है। इससे पहले जब उन्हें निलंबित किया गया था तो उन्होंने कैट की शरण ली थी।

कैट ने उनकी याचिका खारिज कर दी थी। इसके बाद उमरानंगल ने पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया। दरअसल, पिछले साल उमरानंगल और दो पुलिसकर्मियों के खिलाफ 30 साल पुराने मामले में केस दर्ज किया गया था. उन पर गुरदासपुर जिले के एक व्यक्ति की फर्जी मुठभेड़ में हत्या करने का आरोप है। उन्हें पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय में विशेष जांच दल (एसआईटी) द्वारा पहले प्रस्तुत की गई अंतिम रिपोर्ट पर निलंबित कर दिया गया था।

साल 2015 में जब फरीदकोट में श्री गुरु ग्रंथ साहिब के बिखरे हुए हिस्से मिले तो सिख समुदाय में नफरत फैल गया। इसके विरोध में वे कोटकपुरा में इक_ा हुए और प्रदर्शन करने लगे, जिसके बाद पुलिस ने शांतिपूर्ण प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए प्रदर्शनकारियों पर गोलियां चला दीं। इस दौरान पुलिस के लाठीचार्ज में गुरजीत सिंह और कृष्ण भगवान सिंह की मौत हो गई और करीब 100 प्रदर्शनकारी घायल हो गए।

पांच साल पहले हुए थे सस्पेंड

बहिबल कलां और कोटकपूरा पुलिस फायरिंग मामले में गठित एसआईटी ने 2019 आईजी परमराज सिंह उमरानंगल को गिरफ्तार किया था। इसके बाद उमरानंगल को सस्पेंड कर दिया गया है। पंजाब के गृह विभाग ने इस पुलिस अधिकारी की गिरफ्तारी और उसके बाद अदालत द्वारा उसे जेल भेजे जाने की अधिकृत सूचना के बाद उक्त कार्रवाई की थी।

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