
एक काउंसलर के कांग्रेस में जाने के बाद आम आदमी पार्टी चंडीगढ़ में बनाएगी संगठन, प्रदीप छाबड़ा का अध्यक्ष बनने से इनकार
चंडीगढ़ दिनभर
चंडीगढ़। आम आदमी पार्टी की पार्षद तरुणा मेहता के कांग्रेस में शामिल होते ही आम आदमी पार्टी की आंखें खुल गई हैं। पार्टी को चंडीगढ़ में एकजुट रखने के लिए उसे भी अब संगठन की जरूरत महसूस होने लगी है। इस संबंध में मोहाली विधायक कुलवंत सिंह ने सभी जीते हुए पार्षदों को बुलाकर मीटिंग की। इस दौरान सभी पार्षदों ने एक दूसरे पर मनमानी के आरोप लगाए। सूत्रों के अनुसार मीटिंग में जमकर गाली गलौच भी हुई। इसके बाद कुलवंत और गर्ग ने सभी को गुटबाजी खत्म करने की हिदायत दी। साथ ही कहा ही जल्द ही संगठन घोषित किया जाएगा।
शहर में आप के दो ही वरिष्ठ नेता हैं। प्रदीप छाबड़ा और प्रेम गर्ग। जानकारी के अनुसार छाबड़ा अध्यक्ष पद के लिए इनकार कर चुके हैं। अब बचे प्रेम गर्ग। जबसे पार्टी बनी है वे तभी से जुड़े हुए हैं। उन्हें अध्यक्ष बनाया जा सकता है लेकिन ऐसी भी खबरें हैं कि पार्टी किसी तीसरे को चंडीगढ़ की कमान सौंपने की योजना बना रही है। अरविंद केजरीवाल वीरवार को चंडीगढ़ में थे और संगठन विस्तार को लेकर प्रेम गर्ग के साथ उनकी बातचीत भी हुई है। अब देखना है कि ऊंट किस करवट बैठता है।
क्यों जरूरत पड़ी संगठन की
आप के जीते हुए पार्षदों की गुटबाजी किसी से छिपी हुई नहीं थी। तरुणा मेहता ने जब कांग्रेस का हाथ थामा तो विरोध प्रदर्शन के लिए सभी पार्षदों को पार्टी ने बुलाया लेकिन पहुंचे सिर्फ पांच पार्षद। सभी पार्षद हरमोहन धवन, प्रदीप छाबड़ा व प्रेम गर्ग गुट में बंटे हुए हैं।
हारे को कोई नहीं पूछता
नगर निगम चुनाव में आम आदमी पार्टी ने 35 उ मीदवार मैदान में उतारे थे। चुनाव में 14 उ मीदवार जीत गए। पार्टी ने सिर्फ जीतने वालों को ही याद रखा। इस पर चुनाव हारने वाले कई काउंसलर्स ने आपत्ति भी जाहिर की। उनका कहना था कि चुनावों के दौरान आम जनता से वादा किया था कि नगर निगम में आप काउंसलर शहर की समस्याओं को लेकर आवाज उठाते रहेंगे लेकिन सभी काउंसलर अपने ही वार्ड में बिजी हैं।