
जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग जिले में बुधवार को आतंकियों के साथ एक एनकाउंटर में देश ने सेना के तीन जाबांज अफसर खो दिए हैं. इनमें एक कर्नल, एक मेजर और एक डीएसपी का नाम शामिल है.
सुरक्षाबलों को कोकेरनाग इलाके में जवानों पर हमले के साजिशकर्ता आतंकवादियों के छिपे होने की जानकारी मिली थी. एक टीम मौके पर पहुंची और घेराबंदी कर दी. इस बीच, दोनों तरफ ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू हो गई और सेना के राष्ट्रीय राइफल्स यूनिट के कमांडिंग ऑफिसर (कर्नल) मनप्रीत सिंह, एक कंपनी कमांडर (मेजर) आशीष धोंचक और एक जम्मू कश्मीर पुलिस में डीएसपी हुमायूं भट की जान चली गई.
जानकारी के मुताबिक, सेना को विश्वस्त खुफिया सूत्रों से आतंकवादियों के मूवमेंट की जानकारी मिली थी. जिसके आधार पर घेराबंदी का फुल प्रूफ प्लान बनाया गया और इलाके में सेना के अधिकारियों के नेतृत्व में जवान आगे बढ़ रहे थे.
आतंकी संगठन ‘द रेजिस्टेंस फ्रंट’ से जुड़े थे
यह आतंकवादी लश्कर के प्रॉक्सी ‘द रेजिस्टेंस फ्रंट’ (TRF) से जुड़े थे. आतंकी संगठन ने हमले की जिम्मेदारी ली है. प्रतिबंधित रेजिस्टेंस फ्रंट को पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा से जुड़ा आतंकी संगठन माना जाता है.
जनमरण का दुख: अफसरों के परिवारों का दर्द
कर्नल मनप्रीत सिंह का परिवार पंचकूला के सेक्टर 26 में रहता है. उनकी पत्नी जगमीत कौर एक स्कूल टीचर हैं.
मेजर आशीष धोंचक का परिवार पानीपत के सेक्टर-7 में रहता है. उनका परिवार तीन बहनों में इकलौते भाई थे.
डीएसपी हुमायूं भट की पत्नी जम्मू-कश्मीर पुलिस के रिटायर्ड आईजी गुलाम हसन भट के बेटे हुमायूं भट को खून बहने से बचाया नहीं जा सका.
सुरक्षाबलों की तरफ से आतंकियों के खिलाफ ऑपरेशन जारी
इस आतंकी हमले में कोकरमाग के ही उग्रवादी उजैर खान का नाम सामने आया है. कहा जाता है कि उसने 2 आतंकियों के साथ मिलकर इस पूरे हमले को अंजाम दिया है. बता दें कि उजैर अनंतनाग में एकमात्र सक्रिय आतंकवादी है.
अंतिम संस्कार
कर्नल मनप्रीत सिंह, मेजर आशीष धोंचक और डीएसपी हुमायूं भट का अंतिम संस्कार आज (14 सितंबर) होगा.
आतंकवादियों के खिलाफ ऑपरेशन जारी
इस घटना के दो दिन बाद, जम्मू क्षेत्र के राजौरी में पीर पंजाल के दक्षिण में गोलीबारी में सेना के एक जवान और सेना के डॉग यूनिट की लैब्राडोर केंट की मौत हुई. इसके एक दिन पहले, सुदूर नरला गांव में मुठभेड़ में दो आतंकवादी मारे गए हैं.